रोजगार किसे कहते हैं? और रोजगार कितने प्रकार के होते हैं?

भारत में लाखों-करोड़ों लोग बेरोजगार हैं, और रोजगार ढूंढने का काम कर रहे हैं। हालांकि उन्हें यह भी नहीं पता कि रोजगार किसे कहते हैं, और बेरोजगारी किसे कहते हैं। आमतौर पर लोगों को यह लगता है कि वह लोग जिन्हें सरकारी नौकरी नहीं मिलती बेरोजगार होते हैं। हालांकि रोजगार की परिभाषा से इसका दूर-दूर तक कोई लेना देना नहीं है।

यदि आप भी नहीं जानते कि रोजगार किसे कहते हैं तो यह चिंतन का विषय जरूर है लेकिन चिंता का विषय नहीं है। इसीलिए आज की लेकिन हम आपको यह बताएंगे कि रोजगार किसे कहते हैं, इसके अलावा हम आपको यह भी बताएंगे कि रोजगार कितने प्रकार के होते हैं, और साथ ही आपको इसके बारे में भी जानकारी देंगे कि रोजगार कैसे प्राप्त करें।

रोजगार किसे कहते हैं?

वह कार्य जिसे करके कोई भी व्यक्ति अपनी आजीविका कमाता है उसे रोजगार का नाम दिया जाता है। रोजगार के द्वारा एक व्यक्ति अपने परिवार को पालता है। साथ ही समाज में सभी लोगों के साथ जुड़े रहने के लिए अनेकों भरसक प्रयास करता है। रोजगार किसी एक कार्य को इंगित नहीं करता है लेकिन यदि हम एक विशेष अनुरूप के आधार पर रोजगार को परिभाषित करना चाहे तो इस प्रकार कर सकते हैं कि:-

“वह कार्य जिसे करके हमें धन प्राप्त होता है, उसे रोजगार की संज्ञा दी जा सकती है”

आमतौर पर रोजगार दो प्रकार के होते हैं जिसे अच्छा रोजगार और बुरा रोजगार कहा जाता है।

अच्छा रोजगार वह होता है जिसमें हम बिना किसी दूसरे व्यक्ति को नुकसान पहुंचाए, बल्कि लोगों को सेवा देकर यह प्रोडक्ट देकर, उनकी मदद करके, बदले में धन प्राप्त करते हैं, तो ऐसे कार्य को अच्छा रोजगार माना जाता है।

इसके विपरीत वह कार्य जिसे करने हेतु हमें लोगों को चोट पहुंचाने पड़े या लोगों को दुखी करना पड़े तो ऐसे रोजगार को पूरा रोजगार कहा जाता है।

यह रोजगार के सबसे उपयुक्त दो प्रकार होते हैं। हालांकि रोजगार को अन्य कई प्रकारों में विभाजित किया जा सकता है जैसे कि नौकरी और व्यापार।

रोजगार कितने प्रकार के होते हैं?

रोजगार को सामान्य रूप में नौकरी और व्यापार के रूप में विभाजित किया जा सकता है।

rojgar kise kahate hain

  1. नौकरी
  2. व्यापार

1. नौकरी

नौकरी वह कार्य होता है जिसके अंतर्गत हम किसी एक व्यक्ति या संस्था के अधीन काम करते हैं और उस कार्य को करने के बदले में वह संस्था हमें पैसे देती है, या हमें हमारी मेहनताना देती है। तो वह संस्था एक मालिक के रूप में हमें रोजगार उपलब्ध करवाती है। यह संस्था सरकार भी हो सकती है या कोई पब्लिक स्टीट्यूशन प्राइवेट ट्यूशन यह कोई विशेष व्यक्ति भी हो सकता है, जो हमें रोजगार उपलब्ध करवाता है।

2. व्यापार

व्यापार के अंतर्गत हम सीधे रूप से लोगों को सेवा यह प्रोडक्ट बेचकर इसके बदले में धन या अन्य कोई वस्तु प्राप्त करते हैं, जिससे हम हमारी आजीविका चला सके साथी समाज में एक उच्च स्थान प्राप्त कर सके तो वह व्यापार भी रोजगार कहलाता है।

अब आप समझ चुके होंगे कि केवल सरकारी नौकरी को ही रोजगार नहीं कहा जा सकता है।

रोजगार और बेरोजगार में क्या अंतर है?

रोजगार बेरोजगार
रोजगार में आपको काम करना रहता है जिसके बदले में आपको पैसे मिलते हैं। इसमें आपके पास किसी भी तरह का कार्य नहीं होता है।
रोजगार में आपको महीने के अंत में पैसे मिलते हैं। बेरोजगार लोगों को महीने के अंत में क्या पूरे महीने एक भी पैसे नहीं मिलते हैं।
रोजगार से आप अपना जीवन यापन सरल कर सकते हैं। बेरोजगारी में आपका जीवन यापन और भी ज्यादा कठिन हो जाता है।

रोजगार कैसे प्राप्त करें

यदि आप रोजगार प्राप्त करना चाहते हैं तो आपको सबसे पहले कई ऐसे कार्य सीखने होंगे जिसे करके आप पैसा कमा सकते हैं। ऐसे विभिन्न क्षेत्र हैं जिसके अंतर्गत आप काम करके पैसे कमा सकते हैं जैसे की मोटर इंडस्ट्री, टेक्निकल इंडस्ट्री, मेडिकल इंडस्ट्री, रियल एस्टेट इंडस्ट्री, और भी कई ऐसी इंडस्ट्री है जिसमें आप काम करके पैसे कमा सकते हैं, और अपनी आजीविका कमा सकते हैं।

साथ ही समाज में एक इज्जत और उच्च स्थान प्राप्त कर सकते हैं। इंडस्ट्री से संबंधित कार्यों को सीख कर आप रोजगार करने के लिए इन क्षेत्रों के संबंधित संस्थानों में अप्लाई कर सकते हैं, और रोजगार कर सकते हैं।

निष्कर्ष

आशा है या आर्टिकल आपको बहुत पसंद आया हुआ इस आर्टिकल में हमने बताया (रोजगार किसे कहते है | rojgar kya hota hai) के बारे मे संपूर्ण जानकारी देने की कोशिश की है अगर यह जानकारी आपको अच्छी लगे तो आप अपने दोस्तों के साथ भी Share कर सकते हैं अगर आपको कोई भी Question हो तो आप हमें Comment कर सकते हैं हम आपका जवाब देने की कोशिश करेंगे।

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